*विश्व का सबसे बड़ा मानव अधिकार जन जागरूकता पद यात्रा – भारत के उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले से उठी ऐतिहासिक आल इंडिया ह्यूमन राइट्स आर्गनाइजेशन के मानव अधिकार जन जागरूकता पद यात्रा की आवाज़*

रिपोर्ट/नरसिंह उपाध्याय/महराजगंज 

उप सम्पादक 

 

मानव अधिकारों के सुरक्षा एवं संरक्षण को लेकर पूरे देश में एक नई चेतना जगाने के उद्देश्य से ऑल इंडिया ह्यूमन राइट्स ऑर्गनाइजेशन द्वारा विश्व का सबसे बड़ा मानव अधिकार जन जागरूकता पद यात्रा प्रारंभ की गई है।

यह ऐतिहासिक पदयात्रा 10 नवंबर से 10 दिसंबर – विश्व मानवाधिकार दिवस तक आयोजित की जा रही है,

 *जिसका नेतृत्व संगठन के संस्थापक महासचिव श्री पन्ने लाल यादव जी कर रहे हैं।*

 

आज 16 दिनों से इस पदयात्रा ने उत्तर प्रदेश के 40 जिलों में नागरिकों को मानव अधिकारों के प्रति जागरूक कर रही है, और यात्रा तेज गति से आगे बढ़ रही है।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य—

प्रत्येक व्यक्ति को संविधान द्वारा प्रदत्त मौलिक अधिकारों की जानकारी देना।

समाज के कमजोर वर्गों, महिलाओं, बच्चों, बुजुर्गों और पीड़ितों को न्याय दिलाने की जागरूकता बढ़ाना।

मानव गरिमा एवं संवैधानिक हक के लिए सामूहिक जागरूकता पैदा करना है।

 

*यात्रा के दौरान आम नागरिकों, विद्यार्थियों, युवाओं, किसानों, महिलाओं, दिव्यांगजनों एवं वरिष्ठ नागरिकों को शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, न्याय और सामाजिक अधिकारों के विषय में विस्तार से जानकारी दी जा रही है।*

 

यह पदयात्रा 10 दिसंबर, विश्व मानवाधिकार दिवस को लखनऊ पहुंचकर संगठन द्वारा ऐतिहासिक भव्य समापन किया जाएगा , 

 

जहां माननीय मुख्यमंत्री एवं माननीय प्रधानमंत्री जी के नाम 38 सूत्रीय मांगों का ज्ञापन संगठन के संस्थापक महासचिव पन्ने लाल यादव जी द्वारा सौंपा जाएगा।

इन मांगों का उद्देश्य भारत में मानव अधिकारों की मजबूती, पीड़ितों को शीघ्र न्याय एवं मानवाधिकार संरक्षण संस्थाओं को और सशक्त बनाना है।

*संस्थापक महासचिव श्री पन्ने लाल यादव ने कहा:*

मानव अधिकार कोई उपहार नहीं—यह जन्म से प्राप्त अधिकार हैं। इसका सम्मान, सुरक्षा और संरक्षण हर सरकार तथा समाज की जिम्मेदारी है। हम इस पदयात्रा से हर व्यक्ति तक जागरूकता की रोशनी पहुंचाना चाहते हैं।”

*भारत के सभी सम्मानित नागरिकों से अपील* 

संगठन ने नागरिकों, सामाजिक कार्यकर्ताओं, संस्थाओं तथा नौजवानों से अपील की है, कि मानवाधिकारों की सुरक्षा के लिए एकजुट हों।जागरूकता को एक मिशन बनाएं।

अन्याय, अत्याचार, भ्रष्टाचार और मानवाधिकार उल्लंघन के खिलाफ आवाज उठाएं।

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